Supreme Court की चेतावनी! इन फर्जी वेबसाइट्स से रहें सतर्क नहीं तो खाली हो सकता है बैंक अकाउंट


बता दें कि इन वेबसाइट्स को आधिकारिक साइट जैसा ही दिखाया जाता है, लेकिन इनका मकसद निजी डेटा चोरी कर साइबर अपराध को अंजाम देना होता है. आइए जानते हैं विस्तार से.

आपकी जानकारी के लिए बता दें कि साइबर अपराधी फर्जी वेबसाइट्स को सोशल मीडिया या वॉट्सऐप के माध्यम से शेयर कर रहे हैं. इनका URL दिखने में आधिकारिक लगता है, लेकिन इन पर क्लिक करते ही आपकी संवेदनशील जानकारी जैसे बैंक डिटेल्स और निजी डेटा चोरी हो सकता है.

इतना ही नहीं, सुप्रीम कोर्ट ने विशेष रूप से लोगों को सलाह दी है कि वे सुप्रीम कोर्ट के नाम से आने वाले किसी भी लिंक पर भूलकर भी क्लिक न करें. सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट किया है कि वह कभी किसी व्यक्ति से निजी या वित्तीय जानकारी नहीं मांगता.

कोर्ट की आधिकारिक वेबसाइट केवल www.sci.gov.in है. अन्य किसी भी वेबसाइट पर भरोसा करना आपके लिए खतरनाक साबित हो सकता है. पिछले साल तत्कालीन मुख्य न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ ने भी इसी प्रकार की चेतावनी जारी की थी.

उन्होंने कहा था कि सुप्रीम कोर्ट के नाम पर चलने वाली फर्जी वेबसाइट्स वकीलों, वादी-प्रतिवादी, और आम नागरिकों को निशाना बना सकती हैं. भारत में बढ़ते ऑनलाइन धोखाधड़ी के मामलों के बीच यह सलाह बेहद जरूरी है.

अनजान नंबर से आए मैसेज या ईमेल को न खोलें. किसी भी लिंक पर क्लिक करने से पहले उसकी सत्यता की जांच करें. किसी ऑफर या डिस्काउंट के लालच में न आएं. साइबर अपराधियों को निजी जानकारी न दें.

अधिकतर फ्रॉड का कारण लोगों की लापरवाही होती है. साइबर अपराधी लोगों की लालच या असावधानी का फायदा उठाते हैं. ऐसे में अपनी प्राइवेसी और वित्तीय सुरक्षा बनाए रखने के लिए सतर्क रहना ही सबसे सही तरीका है.
Published at : 12 Jan 2025 07:25 PM (IST)
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